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पाकिस्तान में 8 फरवरी को होने वाले आम चुनाव से पहले महंगाई आसमान छू रही है। लाहौर में एक दर्जन अंडों की कीमत 400 पाकिस्तानी रुपये (PKR) हो चुकी है। वहीं प्याज 250 रुपये किलो बिक रही है। ARY न्यूज के मुताबिक ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि प्रशासन सरकारी दामों को लागू करने में फेल रहा है।
सरकार ने प्याज की कीमत 175 पाकिस्तानी रुपए प्रति किलो तय की हुई है, लेकिन बाजार में ये लगभग 100 रुपए ज्यादा की कीमत पर बिक रही है। चिकन भी 615 रुपये प्रति किलो मिल रहा है।
इन हालातों के बीच पाकिस्तान की इकोनॉमिक कोर्डिनेशन कमिटी ने वहां की नेशनल प्राइस मॉनिटरिंग कमिटी को निर्देश दिए हैं कि वो लोकल प्रशासन से रोजमर्रा की चीजों के दाम कंट्रोल कराने में मदद करे।

पाकिस्तान में पिछले साल आटे के दाम बढ़ने से कई इलाकों में भगदड़ मचने से लोगों की मौत हो गई थी।
पाकिस्तान पर 63 लाख करोड़ का कर्ज
पाकिस्तान में महंगाई के ये आंकड़े उस वक्त आ रहे हैं जब उस पर कुल कर्ज बढ़कर 63,399 लाख करोड़ PKR हो गया है। केयर टेकर सरकार में पाकिस्तान के कर्ज में 12.430 लाख करोड़ PKR की बढ़ोतरी हुई है। इसमें 40.956 लाख करोड़ घरेलू कर्ज और अंतरराष्ट्रीय कर्ज 22.434 लाख करोड़ रुपए का है।
पाकिस्तान के आर्थिक हालातों को लेकर वर्ल्ड बैंक ने हाल ही में एक रिपोर्ट जारी की है। इसके मुताबिक पाकिस्तान में आने वाले समय में थोड़ा बहुत जो विकास होगा वो अमीरों तक ही सीमित रहेगा। इसके चलते पाकिस्तान आर्थिक संकट के मद्देनजर अपने साथी देशों से बहुत पिछड़ गया है।
पाकिस्तान के लिए विश्व बैंक के निदेशक नेजी बेन्हासिन ने कहा कि पाकिस्तान का आर्थिक मॉडल अप्रभावी हो गया है और गरीबी फिर से बढ़ने लगी है। बेन्हासिन ने कहा कि पाकिस्तान में आर्थिक विकास टिकाऊ नहीं है।

पाकिस्तान में मुनाफाखोरी बढ़ी
पिछले महीने राजस्व और आर्थिक मामलों के कार्यवाहक मंत्री शमशाद अख्तर की अध्यक्षता में एक बैठक हुई थी। इसमें सामने आया था कि मुल्क में हाल ही के दिनों में महंगाई के चलते जमाखोरी और मुनाफाखोरी बढ़ी है। इसे रोकने के लिए प्रांतीय सरकारों के साथ मिलकर काम करने के आदेश दिए गए थे। हालांकि, इन आदेशों का फर्क नहीं पड़ा।
3 दिन पहले पाकिस्तान को मिला था 700 मिलियन डॉलर का बेल आउट पैकेज
पाकिस्तान को तीन दिन पहले ही इंटरनेशनल मॉनेटरी फंड (IMF) से 700 मिलियन डॉलर, यानी 58 हजार करोड़ रुपए का कर्ज मिला था। न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक इसके बदले में IMF ने पाकिस्तान से मु्ल्क में ब्याज दरें, बिजली और नैचुरल गैस के दाम बढ़ाने की शर्ती रखी थी।
दिसंबर के अंत में जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक पाकिस्तान में 2023 में महंगाई 29% बढ़ी। हालांकि, हर महीने महंगाई दर में कमी आई है। पाकिस्तान के सेंट्रल बैंक के चीफ जमील अहमद ने 2024 में महंगाई दर को 5%-7% के बीच रखने की उम्मीद जताई है।
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