Friday , 1 August 2025
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Ukraine Foreign Minister Dmytro Kuleba India Visit | India Russia Relations | यूक्रेन बोला- भारत-रूस के रिश्तों का कोई भविष्य नहीं: कहा- यह सिर्फ सोवियत काल की विरासत; हमें जंग रोकने के लिए भारत की जरूरत

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नई दिल्ली/कीव2 घंटे पहले

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रूस-यूक्रेन जंग शुरू होने के बाद यह पहली बार है जब यूक्रेन के विदेश मंत्री डिमित्रो कुलेबा भारत के दौरे पर आए हैं। - Dainik Bhaskar

रूस-यूक्रेन जंग शुरू होने के बाद यह पहली बार है जब यूक्रेन के विदेश मंत्री डिमित्रो कुलेबा भारत के दौरे पर आए हैं।

रूस-यूक्रेन जंग के बीच यूक्रेन के विदेश मंत्री दिमित्रो कुलेबा पहली बार 2 दिन के दौरे पर भारत आए हैं। इस दौरान उन्होंने कहा, ‘भारत और रूस के रिश्ते सोवियत काल की विरासत हैं। सोवियत संघ खत्म हो चुका है और इसलिए दोनों देशों के रिश्तों का कोई भविष्य नहीं है।’

NDTV को दिए इंटरव्यू में दिमित्रो ने कहा, ‘मेरा मानना है कि भारत और यूक्रेन के रिश्तों का बेहतर भविष्य हो सकता है,किन अगर भारत और रूस इतने करीब हैं तो वे इसका इस्तेमाल मॉस्को के व्यवहार पर असर डालने में कर सकते हैं। वैश्विक स्तर पर भारत की आवाज बेहद अहम है और यूक्रेन में शांति के लिए हमें उनकी जरूरत है।’

कुलेबा शुक्रवार को भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर और NSA अजीत डोभाल के साथ बैठक करेंगे। (फाइल)

कुलेबा शुक्रवार को भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर और NSA अजीत डोभाल के साथ बैठक करेंगे। (फाइल)

यूक्रेनी विदेश मंत्री ने दोहराया PM मोदी का बयान, कहा- यह जंग का युग नहीं
रूस-यूक्रेन जंग पर PM मोदी के दिए एक बयान को दोहराते हुए कुलेबा ने कहा, ‘यह जंग का युग नहीं है। रूस ने दूसरे विश्व युद्ध के बाद यूरोप में अब तक की सबसे बड़ी जंग छेड़ रखी है। हम जानते हैं कि रूस के साथ भारत आर्थिक, तकनीकी और रक्षा के क्षेत्र में जुड़ा हुआ है। भारत एक आजाद देश है और उसे अपने हित के मुताबिक दूसरे देशों से रिश्ते रखने का पूरा अधिकार है।’

जंग खत्म करने में भारत के रोल पर बात करते हुए कुलेबा ने कहा, ‘भारत शांति के लिए ग्लोबल साउथ के देशों को साथ लाने में अहम भूमिका निभा सकता है। अगर भारत यूक्रेन में शांति लाने के लिए किसी बैठक में शामिल होगा, तो दूसरे देश भी बैठक में जुड़ने में ज्यादा सहज महसूस करेंगे।’

यूक्रेन के विदेश मंत्री ने कहा, ‘इससे यूक्रेन और भारत के रिश्ते भी बेहतर होंगे और अंतरराष्ट्रीय कानून के लिए सम्मान भी बढ़ेगा। दुनिया में यह संदेश जाएगा कि कोई भी जबरदस्ती सीमा को नहीं बदल सकता। कोई देश अपने पड़ोसी पर हमला करके उन पर जुल्म नहीं कर सकता। आज हमें ऐसे ही विश्व की जरूरत है, जिसे रूस तबाह करने में लगा है।’

कुलेबा बोले- भारत अपनी करेंसी में खरीद रहा तेल, इससे रूस को फायदा नहीं
जंग के बीच भारत के रूस से तेल खरीदने के मुद्दे पर कुलेबा ने कहा, ‘तेल का लेनदेन भारतीय करेंसी में होता है। इससे रूस को मदद नहीं मिलती और इसलिए हमें इससे कोई दिक्कत नहीं है।’

यूक्रेनी विदेश मंत्री बोले- गांधी सच के साथ थे इसलिए जीते, हम भी उनकी तरह सफल होंगे
NDTV के इंटरव्यू में कुलेबा ने महात्मा गांधी का जिक्र करते हुए कहा, ‘जब भारत आजादी की लड़ाई लड़ रहा था, तब बहुत कम लोगों को लगता था कि महात्मा गांधी सफल होंगे और भारत एक आजाद देश बन पाएगा। इसी तरह आज ज्यादातर लोगों को लगता है कि यूक्रेन अपनी क्षेत्रीय अखंडता को बचा नहीं पाएगा। लेकिन तब गांधी सफल हुए थे और यूक्रेन भी जरूर जीतेगा।’

कुलेबा ने कहा, ‘गांधी सही और सच के साथ थे और आज सच्चाई हमारी तरफ है। हमें उम्मीद है कि भारत भी सच का साथ देगा क्योंकि यही महात्मा गांधी की विरासत है।’

यूक्रेन जल्द ही स्विट्जरलैंड में एक शांति सम्मेलन करने वाला है। इस पर विदेश मंत्री कुलेबा ने कहा, ‘समिट में भारत की मौजूदगी बेहद अहम है। भारत के PM मोदी और हमारे राष्ट्रपति जेलेंस्की पहले ही फोन पर इस सम्मेलन को लेकर चर्चा कर चुके हैं।’

PM मोदी ने पुतिन और जेलेंस्की को किया था फोन
कुछ दिन पहले ही PM मोदी ने रूस के राष्ट्रपति पुतिन और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की से फोन पर बात की थी। उन्होंने दोनों नेताओं के सामने जंग पर भारत का रुख दोहराते हुए कहा था कि कूटनीति और बातचीत के जरिए मसले का हल निकाला जाना चाहिए।

इस दौरान पुतिन और जेलेंस्की ने मोदी को लोकसभा चुनाव के बाद अपने-अपने देश आने का न्योता भी दिया था। फोन कॉल के बाद PM मोदी ने सोशल मीडिया पर पोस्ट करके कहा था, ‘भारत ने हमेशा से जंग जल्द खत्म करने और शांति का समर्थन किया है। हम हमेशा मानवीय सहायता जारी रखेंगे।’

PM मोदी ने पुतिन से आखिरी बार साल 2022 में SCO समिट में मुलाकात की थी। वहीं पिछले साल जापान में G7 बैठक में PM मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की से बातचीत की थी। (फाइल)

PM मोदी ने पुतिन से आखिरी बार साल 2022 में SCO समिट में मुलाकात की थी। वहीं पिछले साल जापान में G7 बैठक में PM मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की से बातचीत की थी। (फाइल)

मोदी ने पुतिन से कहा था- यह युद्ध का युग नहीं है
रूस-यूक्रेन जंग शुरू होने के बाद से PM मोदी कई बार पुतिन और जेलेंस्की से फोन पर बातचीत कर चुके हैं। युद्ध को लेकर भारत ने हमेशा से आम लोगों की हत्या की निंदा की है और टकराव को शांतिपूर्ण तरीके से खत्म करने की बात की।

PM मोदी ने साल 2022 में उज्बेकिस्तान में SCO समिट के मौके पर राष्ट्रपति पुतिन से कहा था कि यह युद्ध का युग नहीं है। यह बयान भारत की अध्यक्षता में G20 के घोषणा पत्र में भी लिखा गया था। पिछले साल अमेरिका दौरे से पहले वॉल स्ट्रीट जर्नल को दिए एक इंटरव्यू में PM मोदी ने रूस-यूक्रेन जंग पर बात की थी।

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